वापिस आ जाओ आवाज़
जवाब दे जाओ
बुलाया फिर मैने
रोका उसको बड़ा के हाथ
क्या पहुँच जाऊंगा
के सब कुछ फिर से कह पाउँगा
कुछ सोचा न था
बस बुला लिया
की वापिस फिर से जिंदगी में
वही हलचल आ जाये
पन्ने जिगर के फिर से पलट जाये
बिसरी बातों में फिर वोह
रंगत लौट आये
बस एक बार
सुन तो लो
दिल के तार खिंच से गये थे
सुर जिंदगी के हिल से गये थे
तारों को फिर से स्वर दे जाओ
आवाज़ दी है सुन लो
वापिस आ जाओ
जवाब दे जाओ ....
No comments:
Post a Comment